हाथी और चींटी के किस्से जग-जाहिर हैं। लेकिन हाथी और चींटी दोस्त भी हो सकते हैं! एक-दूसरे को ललकार भी सकते हैं। इससे बड़ी बात कि वे अपने बड़े-छोटे आकार की खूबियाँ भी एक-दूसरे को बता सकते हैं। दिलचस्प बात यह है कि ऐसे कई काम हैं जो आप बेहद सरलता से कर सकते हैं लेकिन मैं तमाम कोशिशों के बावजूद भी उन्हें तनिक भर न कर सकूँ। लब्बोलुआब यह है कि हम जैसे हैं, हमें खुद पर नाज़ होना ही चाहिए। दूसरों की कद्र भी तभी हम कर पाएँगे। उम्मीद है कि आपको यह कहानी ज़रूर पसंद आएगी। #पायस#बालपत्रिका, अगस्त 2021, कहानी आमने-सामने Post navigation भभो भैंस कहानी का प्रस्तुतिकरण अनुभव और मृगाँक के संग लेखक हैं-त्रिपुरारी शर्मा द अरेबियन नाइट्स की कहानी अनूठा थैला annotha Thaila